बुधवार, 30 सितंबर 2015

पहला प्यार

मोहित हो गयी हूँ मैं
जबसे लड़े उनसे नैना
अँखिया दरश गयी उनको
भूली भूख प्यास और चैना

सजदे में उसके पलकें झुक जाती है
और वो बेरहमी से क़त्ल किये जाता है
मेरी धड़कनो से होकर
दिल तक दस्तक दे जाता है

उसकी आहट से मेरी बेचैनी बढ़ जाती है
दूरियों से जाने क्यों मेरी उम्र घट जाती है

साजना भर ले बाँहों में, जी लूँ जरा
पहले प्यार का जाम , पि लूँ जरा

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यौवन का पूर्ण श्रृंगार
उसका पहला प्यार
जीवन का आधार
इश्क़ का इजहार

मंगलवार, 22 सितंबर 2015

सर्वोतम हूँ में

सर्वोतम हूँ में

इस दौड़ में
जानवर हो गया इन्सान
भले बुरे की छोड़ पहचान
हो गया हूँ महान

सर्वोतम हूँ में
इस दौड़ में
दुसरो को नीचा दिखाता गया
खुद का परचम लहराता गया
दिल को बहलाता गया

सर्वोतम हूँ में
इस दौड़ में
नशे में चूर हो गया था मय के
भूल गया था मायने भय के
बस दौड़े जा रहा था

सर्वोतम हूँ में
इस दौड़ में
कुछ अपने थे जो समझाते रहे
मेरे जहन से रुकावट समझ बहते रहे
वो फिर भी अपना कहते रहे


सर्वोतम हूँ में
इस दौड़ में
सर्वोतम हूँ में
इस दौड़ में

सर्वोतम हूँ में
इस दौड़ में

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सर्वोतम की होड़ में
मंजिल पर अकेला होगा तू
दुनिया छोटी आएगी नजर
कोई बराबरी को नहीं होगा बेशक




सौदागर वो इश्क का

सौदागर है वो इश्क का
किस के हिस्से आएगा
तय करता है अपने पैमाने से

किसी को जिस्म का भूखा बताता है
तो किसी को रूह का शहजादा जताता है
सौदागर है वो इश्क का



बुधवार, 16 सितंबर 2015

बेगानो से अपने अपनों से बेगाने

नन्हें कदमो से चलना सीखा था
की बचपन छीन लिया
अपने और कुछ बेगानो ने

खेत खलिहानों की जगह ले ली
आलीशान मकानों ने
ऐसा छला मुझे अपने और कुछ बेगानो ने

वक़्त की रैना में वो बेगाने भी अपने हो गए
हम कुछ वक़्त के लिए हसीं सपनो में खो गए
लगने लगा है कि वो बेगाने भी अपने हो गए

रास ना आई मेरी खुशिया, अपनों की ही नजर लग गई
इस तरह हुयी विपदा की
जो बेगाने हुए थे अपने
आज फिर बेगानो सा हो गए

जो संजोये थे संग जीने के सपने
वो कहीं अपनों की खुशियो में खो गए
जो बेगाने हुए थे अपने
आज फिर बेगानो सा हो गए

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क्या खेल जीवन ने है खेला
आगे बढ़ने को नहीं
पीछे हटने को नहीं

तथ्य:- एक दोस्त ने अपने दोस्त की वेदना सुनाई थी कुछ इस तरह ही व्यक्त कर पाया॥ हिम्मत ना हुयी कुछ और लिखने की

गुरुवार, 10 सितंबर 2015

कुछ तो बात है

कुछ तो बात है
जो आँखों से दिल में उतर गया वो
साँसों में बस
ज़िन्दगी बन गया है वो

कुछ तो बात है
पल भर संग उसके
सादियो सा जी लेता हूँ में
कुछ लम्हों में
उम्र भर की चोट ले लिया करता हूँ मैं

कुछ तो बात है
मेरी तस्वीर
आँखों में लिए फिरता है वो
मेरी हर बात
दिल पर लिए आहें भरता है वो

कुछ तो बात है
लबो पर मेरा नाम आये
तो दुनिया से डरता है वो
मैं खामोश हो जाऊ गर
तो दुनिया से लड़ता है वो

कुछ तो बात है

शनिवार, 5 सितंबर 2015

सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर


सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर
बेदर्दी से दौड़े जा रहा हूँ
ना आज होश है ना कल की खबर

दर्द के सिवा कोई मंजर नहीं
फिर भी बह गया हूँ रसधार में
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर

नाउम्मीदें के आलम में एक उम्मीद जगाये बैठा हूँ
नफ़रत के माहौल में मोहब्बत लौ जगाये बैठा हूँ
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर

तू बेशक मुझे तरह तरह के नाम से बुलाता है
पर मेरा दिल सिर्फ एक ही धुन समझ पाता है
तेरे लिए एक ही राग गुनगुनाता है
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर

बतिया मुझे से तू घडी दो घड़ी
मेरी ज़िन्दगी की टूटे ना लड़ी
तेरे कदमो में मेरी जान है अड़ी
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर

सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर
तेरे दिल को छु जाऊंगा
नफरत के समुन्दर को
मीठे पानी की झील कर जाऊंगा
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर
सवार हो इश्क़ के घोड़ो पर

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ऐसा आया हूँ तेरे जीवन में
तोहफा समझ रब्ब का अपना बना लेना
ना पसंद आये तो बुरा सपना
समझ कर भूल जाना

कड़वे शब्द बोलता हूँ